हाइलाइट्स –
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लॉकडाउन के पश्चात पहली बार संस्था के मुख्यालय शांतिवन में आयोजित हो रही है कार्यकारिणी की बैठक
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परमात्मा की मधुर स्मृति से किया गया अधिवेशन का प्रारंभ
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भारतीय संस्कृति के अनुसार वरिष्ठ भाई-बहनों को तिलक व गुलदस्ता देकर किया गया स्वागत
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दादी जी के ऑफिस के द्वारा इन तीन वर्षों में जितने भाई-बहनों ने शरीर छोड़ा उसकी विडिया क्लिप दिखाई गई
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कार्यक्रम के प्रारंभ में 2 मिनट मौन रखकर उन भाई-बहनों को श्रद्धांजली दी गई जिन्होंने कोरोना काल में शरीर छोड़ा था
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संस्था की अतिरिक्त मुख्य प्रशासिका ब्रह्माकुमारी मोहिनी बहन ने ऑनलाइन किया सम्बोधित
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केक काटकर सबका मुख मीठा कराया
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पूरे वर्ष दया एवं करूणा के लिए आध्यात्मिक सशक्तिकरण वर्ष की थीम पर आयोजित किए जायेंगे कार्यक्रम

नवयुग टाइम्स, संवादाता, राजस्थान, आबू रोड। 05 April 2022
आबू रोड। वैश्विक महामारी के दौर से गुजरने के पश्चात ब्रह्माकुमारी संस्था के कार्यकारिणी के सदस्यों की पहली मीटिंग संस्था के मुख्यालय शांतिवन में आयोजित की गई। जिसमें संस्था के सभी भाई-बहनों ने बहुत ही खुशी व स्नेह से भाग लिया। इस वार्षिक मीटिंग का प्रारंभ परमात्मा की मधुर स्मृति से हुआ और इसके पश्चात संस्था के महासचिव ब्रह्माकुमार निर्वैर भाई के आह्वान पर सभी भाई-बहनों ने 2 मिनट मौन रहकर उन भाई-बहनों को श्रद्धांजली दी जिन्होंने कोरोना काल में अपना शरीर का त्याग किया था।
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शांति की शक्ति बढ़ानी होगी – दादी

इस अधिवेशन को सम्बोधित करते हुए संस्था की मुख्य प्रशासिका दादी रतनमोहिनी ने कहा वर्तमान समय को देखते हुए हमें अपने अंदर शांति की शक्ति बढ़ानी है। परमात्मा की याद में रहकर हम अपनी अवस्था एकरस, अचल, अडोल बना सकते हैं। परमात्मा के महावाक्यों को याद कर हमें ऊंची स्थिति बनानी है और सदा खुशी में रहना है।
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स्व सेवा के साथ जन सेवा भी करनी है – निर्वैर

संस्था के महासचिव बीके निर्वैर भाई ने कहा कि तीन वर्षों के बाद यह मीटिंग हो रही है। इस दौरान हमने अनेक भाई-बहनों को खोया है। जिन्हें आज हम दो मिनट मौन रहकर उन्हें श्रद्धांजली देंगे। इस वर्ष हमें स्व सेवा के साथ-साथ जन सेवा भी करनी है।
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यहां महायज्ञ चल रहा है – बृजमोहन

संस्था के अतिरिक्त महासचिव बीके बृजमोहन भाई ने कहा यह ईश्वरीय दरबार है जहां भारत के वरिष्ठ राजयोगी भाई-बहनें उपस्थित हैं। सतयुग में राजा से लेकर प्रजा तक हर कोई सुखी होता है उसी प्रकार हम यहां भी एक परिवार के सदस्य हैं। आज पूरा विश्व भारत की ओर देख रहा है कि शांति स्थापन करने में भारत क्या योगदान देगा। यह एक बहुत बड़ा महायज्ञ चल रहा है जिसमें हम अपना-अपना योगदान दे रहे हैं। इस महायज्ञ में पुरे विश्व की अपवित्रता खत्म हो जायेगी।
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मनमनाभव में रहकर हमें आगे बढ़ना है – मोहिनी दीदी
न्यूयार्क से संस्था की अतिरिक्त मुख्य प्रशासिका ब्रह्माकुमारी मोहिनी बहन ने ऑनलाइन सम्बोधित करते हुए कहा कि ब्रह्माकुमारी टीचर बहनें विश्व में एग्जाम्पल की तरह होती है। मनमनाभव में रहकर हमें आगे बढ़ना है।
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परमात्मा ने फरिश्तों के द्वारा संदेश दिया था – जयंति दीदी

लंदन से संस्था की अतिरिक्त मुख्य प्रशासिका ब्रह्माकुमारी जयंति दीदी ने सबको प्रेरणा देते हुए कहा कि शास्त्रों में लिखा है कि सृष्टि के अंतिम समय में परमात्मा ने फरिश्तों के द्वारा संदेश दिया था कि अब घर चलना है। जैसे-जैसे समय समीप आता जा रहा है वैसे-वैसे लोगों का ध्यान संस्था की ओर जा रहा है। हम सबको अपनी चाल-चलन और चेहरे से परमात्मा का साक्षात्कार कराना है।
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और स्व-उन्नति करनी है – मुन्नी दीदी

संस्था की संयुक्त मुख्य प्रशासिका ब्रह्माकुमारी मुन्नी दीदी ने कहा तीन साल के बाद हम आपस में मिल रहे हैं इसकी हमें बहुत खुशी है। इस मीटिंग में हमें स्व-पुरूषार्थ के लिए अच्छी प्लानिंग करनी है। हमें निर्विकारी होकर सेवा संभालनी है और स्व-उन्नति करनी है।
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जब सब फरिश्तें तैयार हो जाएंगे तब…
संस्था की संयुक्त मुख्य प्रशासिका व ज्ञान सरोवर की डायरेक्टर ब्रह्माकुमारी निर्मला दीदी ने कहा कि जब सब फरिश्तें तैयार हो जायेंगे तब प्रत्यक्षता का समय समीप आयेगा। कोरोना काल में भी हम सबने मिलकर ऑनलाइन के माध्यम से अच्छी सेवा की है।
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स्व-उन्नति के प्रोग्राम बनाने से…

महाराष्ट्र से संस्था की संयुक्त मुख्य प्रशासिका ब्रह्माकुमारी संतोष दीदी ने कहा कि ये तीन वर्ष भले हम दूर रहे लेकिन मन से हम सभी आपस में जुड़े हुए थे। स्व-उन्नति के प्रोग्राम बनाने से आध्यात्मिक उन्नति स्वतः ही हो जाती है।
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विश्व को शांति और सकाश देने की सेवा करनी है – मृत्युंजय

संस्था के कार्यकारी सचिव बीके मृत्युंजय भाई ने कहा कि आज चारों ओर हलचल, युद्ध व अशांति का वातावरण बना हुआ है। ऐसे समय में हमें स्व-उन्नति के साथ-साथ विश्व को शांति की सकाश देने की भी सेवा करनी है। इस वार्षिक मीटिंग में स्व-उन्नति व योग तपस्या के कार्यक्रम बनाए जायेंगे। जिससे विश्व में पुनः शांति स्थापन हो सके।
मंच का कुशल संचालन पांडव भवन की ब्रह्माकुमारी शशि दीदी के द्वारा किया गया।

